बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आने वाले दिनों क्या फिर से एनडीए का हिस्सा बनेंगे. यह एक ऐसा सवाल है जिसे लेकर लगातार अटकलबाजियों का दौर जारी है. इन सबके बीच नीतीश कुमार ने जब पिछले दिनों संयोजक का पद ठुकरा दिया तो और भी तरह ही बातें होने लगी. यहां तक कि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने तो सोशल मीडिया के पोस्ट पर लिख दिया कि जदयू के पटलने की खबरों से राजद और कांग्रेस परेशान है. हालांकि जदयू के कई नेताओं ने इन अटकलों का खंडन किया है. इन सबके बीच अब नीतीश कुमार एक दिन पूर्व ही मकर संक्रांति पर लालू यादव के यहां दही चूड़ा का भोज खाने भी गए.
वहीं अब नीतीश कुमार के इंडिया गठबंधन छोड़कर एनडीए में जाने के सवाल पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी भड़क गए हैं. भारत जोड़ो न्याय यात्रा पर निकले राहुल गांधी ने 14 जनवरी से मणिपुर से अपनी यात्रा की शुरुआत की है. इसी क्रम में मीडिया के सवाल पर राहुल ने नीतीश कुमार को लेकर बड़ी बातें कही हैं. राहुल गांधी से पूछा गया कि आप इंडिया गठबंधन को अच्छी हालत में बता रहे हैं, जबकि नीतीश कुमार ने संयोजक पद ठुकरा दिया है. क्या आप लोगों को आशंका है कि नीतीश कुमार आने वाले दिनों में इंडिया गठबंधन को छोड़कर एनडीए में शामिल हो सकते हैं?
इस पर राहुल ने अपना ना में सिर हिलाया और कहा कि फ्रैंकली बोलूं तो मीडिया इन चीजों को बहुत ओवरप्ले करता है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से बातचीत होती है। जो ह्यूमर होता है, भाईचारा होता है, उसको बताया नहीं जाता है। मीडिया एक चीज को उठाकर मेन मुद्दा उसको ही बना देता है। उन्होंने कहा कि इस गठबंधन का मूल उद्देश्य भाजपा के खिलाफ लड़ाई है। मुझे पूरा विश्वास है कि हम सब एक रहते हुए भाजपा के खिलाफ चुनाव लड़ेंगे और जीतने में भी कामयाब रहेंगे।
दरअसल, नीतीश कुमार की पहल भी इंडिया गठबंधन बना है. नीतीश ने जब अगस्त 2022 में एनडीए से अलग होने का ऐलान किया और बिहार में महागठबंधन की सरकार बनाई तब उन्होंने कहा था कि जो वर्ष 2014 में आए हैं वे 2024 में नहीं आएंगे. बाद में नीतीश ने विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश की. करीब 9 महीने के अथक प्रयास के बाद जून 2023 में पटना में विपक्षी नेताओं की पहली बैठक हुई. बाद में बेंगलुरु और मुंबई में बैठक हुई. साथ ही दिल्ली में हाल ही में एक बैठक हुई. विपक्षी दलों के गठबंधन का नाम इंडिया रखा गया है. लेकिन अभी तक सीट शेयरिंग और संयोजक का मुद्दा फंसा हुआ है. वहीं नीतीश कुमार को लेकर अटकलों का बाजार गर्म है. इन सबके बीच अब राहुल ने साफ किया है कि नीतीश कुमार को लेकर किसी प्रकार की भ्रामकता से बचना चाहिए. वे इंडिया के साथ हैं और रहेंगे.