सरस मेले में लगा राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग का स्टॉल लोगों के आकर्षण का प्रमुख केंद्र बना हुआ है। इस स्टॉल पर लोगों की भारी भीड़ जुट रही है। इस स्टॉल पर पूरे राज्य के डिजिटाइज्ड नक्शों के अलावा विभाग की ऑनलाइन सेवाएं भी उपलब्ध हैं।
12 दिसंबर को हुए उद्घाटन के बाद से ही सरस मेले में कुल 565 लोगों ने 1168 शीट नक्शों की खरीद की है, जिससे विभाग को 175200.00 रूपए की आय हुई है। इसके अतिरिक्त वहां ऑनलाइन सेवाओं के लिए भी 2 काउंटर लगे हैं, जहां मामूली शुल्क लेकर विभागीय सेवाओं के लिए आवेदन दिया जा रहा है। इससे पूर्व गांधी मैदान में ही लगे पुस्तक मेले में भी राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने अपना स्टॉल लगाया था। साथ ही सोनपुर मेले में भी लगे विभागीय स्टॉल लगा था जो आम लोगों के बीच खूब लोकप्रिय हुआ। 19 नवंबर से 14 दिसंबर तक चले सोनपुर मेले में कुल 5396 रैयत राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के स्टॉल पर राजस्व नक्शों के लिए पहुंचे। उनके द्वारा कुल 12681 नक्शों की खरीद की गई, जिससे विभाग को कुल 1902150.00 रूपयों की आय हुई, जबकि पुस्तक मेले में जो आज तक चलेगा में अबतक कुल 1269 लोगों द्वारा 3827 नक्शों की बिक्री हुई है।
काउंटर पर सीएस, आरएस, चकबंदी एवं म्युनिसिपल सर्वे नक्शा उपलब्ध
विभाग के काउंटर पर सीएस, आरएस, चकबंदी एवं म्युनिसिपल सर्वे नक्शा उपलब्ध है। इन नक्शों को 150 रूपये प्रति शीट का भुगतान करके प्राप्त किया जा सकता है। छोटे गांव का नक्शा एक शीट में जबकि बड़े गांव का नक्शा एक से अधिक शीट में मिलता है। राजस्व नक्शों को शून्य आकार के बड़े पेपर पर प्रिंट किया जाता है। इसमें प्लॉट का आकार ऑन स्केल होता है। इसकी मदद से रैयत अपनी जमीन की मापी करा सकता है। इसलिए इस नक्शे की बहुत मांग होती है।