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संबित पात्रा ने केजरीवाल पर उठाए सवाल, ”शीश महल” पर 33.66 करोड़ खर्च को घोटाला बताया

भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नेता सम्बित पात्रा ने सोमवार को आम आदमी पार्टी (AAP) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल पर उनके आधिकारिक निवास ‘शीश महल’ के नवीकरण में बड़े घोटाले का आरोप लगाया। पात्रा ने इस मुद्दे को लेकर प्रेस बयान जारी किया और कहा कि कंप्ट्रोलर एंड ऑडिटर जनरल (CAG) की रिपोर्ट में इस मामले को लेकर गंभीर खुलासे किए गए हैं।

शीश महल के नवीकरण का खर्च बढ़ा 342%
सम्बित पात्रा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि 2020 में ‘शीश महल’ के नवीकरण का अनुमानित खर्च 7.62 करोड़ रुपये था, लेकिन टेंडर जारी होने के बाद इसकी कीमत लगभग 13 प्रतिशत बढ़कर 8.62 करोड़ रुपये हो गई। इस मामले को लेकर और भी चौंकाने वाली बात यह थी कि प्रोजेक्ट के पूरे होने के बाद, नवीकरण की कुल लागत 342.31 प्रतिशत बढ़कर 33.66 करोड़ रुपये हो गई।

पात्रा ने कहा, “इस नवीकरण का अनुमानित खर्च 7.61 करोड़ था, लेकिन टेंडर का खर्च 8.62 करोड़ था, यानी 13.21 प्रतिशत ज्यादा। और यह काम 2022 में 33.66 करोड़ रुपये में पूरा हुआ। इसका मतलब यह हुआ कि लागत अनुमानित राशि से 342.31 प्रतिशत अधिक हो गई। यह एक बड़ा घोटाला था जो अरविंद केजरीवाल के ‘शीश महल’ के लिए हुआ।”

सीएजी रिपोर्ट में पारदर्शिता की कमी का खुलासा
सम्बित पात्रा ने CAG की रिपोर्ट का हवाला देते हुए बताया कि रिपोर्ट में निर्माण सलाहकारों की नियुक्ति में पारदर्शिता की कमी का भी जिक्र किया गया है। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार के सार्वजनिक निर्माण विभाग (PWD) ने 17 मार्च 2020 को एक प्रस्ताव दिया कि केजरीवाल का आवास नवीकरण के लिए चाहिए और इसमें एक मंजिल जोड़ने की योजना थी।

पात्रा ने कहा, “सिर्फ एक दिन में इस प्रस्ताव को मंजूरी मिल गई। केजरीवाल ने कभी भी निर्माण सलाहकारों के लिए कोई विज्ञापन नहीं दिया, तो फिर यह कैसे हुआ? यह सिर्फ एक ‘स्पॉट कोटेशन’ था।”

बीजेपी नेता शाहजाद पूनावाला का हमला
बीजेपी के नेता शाहजाद पूनावाला ने भी केजरीवाल पर हमला किया। उन्होंने कहा कि जब कोविड-19 के दौरान दिल्ली के लोग ऑक्सीजन और खाने के लिए संघर्ष कर रहे थे, तब अरविंद केजरीवाल अपने महल के निर्माण में व्यस्त थे। पूनावाला ने कहा, “यह बहुत अच्छा सुझाव है कि ‘शीश महल’ को आम जनता के लिए खोला जाए। जब लोग जीवन रक्षक संसाधनों के लिए तरस रहे थे, तो केजरीवाल अपना महल बना रहे थे। अब सीएजी रिपोर्ट भी सामने आ गई है।”

कांग्रेस ने भी उठाए सवाल
कांग्रेस नेता अल्का लांबा ने भी इस मामले पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा, “मुख्यमंत्री का आवास अस्थायी है और क्या यह सही है कि इस पर 33 करोड़ रुपये खर्च किए जाएं? इस पैसे का इस्तेमाल दिल्ली की समस्याओं जैसे वायु प्रदूषण, पानी की आपूर्ति और महंगाई के समाधान में होना चाहिए था।” उन्होंने मांग की कि आतिशी और अरविंद केजरीवाल इस मामले पर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जनता के सवालों का जवाब दें।


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