उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने मंगलवार को पटना के पुनपुन में पितृपक्ष मेले का उद्धघाटन किया। यहां 17 सितंबर से 2 अक्टूबर तक पितरों को प्रथम पिंडदान दिया जाएगा। पहले ही दिन से देश के विभिन्न राज्यों व प्रदेश विभिन्न जिलों से पिंडदानियों का आना शुरू गया है। पुनपुन में नदी घाट किनारे प्रथम पिंडदान कर श्रद्धालु विष्णुपद गया के लिए रवाना हुए।
उपमुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि हम मरने के बाद भी मोक्ष की प्राप्ति हो, इसकी कामना करते हैं। यह दुनिया में कोई नहीं करता है। दुनिया में तो किसी को पता ही नहीं है कि उनके पिता जी अपने जीवन काल में कहां कहां रहे। लेकिन भारत की संस्कृति और सनातन धर्म अपने पूर्वज और परिवार के लोगों के संयोजन का काम करता है।
सम्राट चौधरी ने आगे कहा कि पुनपुन का इतिहास ही है कि मुख्यमंत्री जी स्वयं प्रतिनिधित्व करते थे। सनातन के मामले में हम डुबते सूरज को भी पूजा करते हैं। दुनिया में ऐसा कहीं नहीं होता है। पुनपुन व गया में पितृपक्ष के माध्यम से जो हम करते हैं यह भी कहीं नहीं है। पुनपुन तो शहिदों की धरती है।
टूरिस्ट स्पॉट बनाने का करेंगे काम
उन्होंने कहा कि डीपीआर बनाकर पुनपुन पितृपक्ष मेला को विष्णुपद गया से जोड़कर अंतरराष्ट्रीय स्तर का टूरिस्ट स्पॉट बनाने का काम करेंगे क्योंकि मोक्ष प्राप्ति का केन्द्र यही है। यहीं से केंद्र खुलता है।
सम्राट चौधरी ने आगे कहा कि मुख्यमंत्री जी से आग्रह कर इस वित्तीय वर्ष में लक्ष्मण झूला चालू कराने का काम करुंगा। हमलोगों ने करीब नौ करोड़ का एस्टीमेट बनवाया। मार्च में जब मुख्यमंत्री जी आएंगे तो, उस धर्मशाला का शिलान्यास किया जाएगा।
ये नेता व अधिकारी रहे मौजूद
कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, पूर्व मंत्री रामकृपाल यादव, श्याम रजक, विधायक गोपाल रविदास, मसौढ़ी विधायक रेखा देवी, जिला परिसद अध्यक्ष अंजू देवी, पटना के जिलाधिकारी डॉ. चन्द्रशेखर व एसएसपी राजीव मिश्रा ने दीप प्रज्वलित कर संयुक्त रूप से मेले का शुभारंभ किया।