पटना से सटे बिहटा में बुधवार को रेलवे ट्रैक पर बैठकर विरोध जता रहेरेलवे संघर्ष समितिके आंदोलनकारी के ऊपर से एक्सप्रेस ट्रेन गुजर गई. गनीमत रही कि ट्रेन के पटरी पर आने से पहले सभी लोग इधर उधर हो गए. फिर भी एक प्रदर्शनकारी ट्रैक पर डटा रहा और ट्रेन के आने पर पटरी के बीच लेट गया और ट्रेन उसके ऊपर से गुजर गई. हालांकि, उस व्यक्ति को कुछ नहीं हुआ, फिर भी थोड़ी से चूक होने पर बड़े हादसे से इंकार नहीं किया जा सकता था।
आंदोलनकारी के ऊपर से गुजर गई एक्सप्रेस ट्रेन : मिली जानकारी के अनुसार बिहटा-औरंगाबाद रेल परियोजना को लेकर रेलवे संघर्ष समिति अरवल के सैकड़ों कार्यकर्ता दानापुर रेल मंडल के बिहटा स्टेशन पर पहुंचकर रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया था. सभी लोग विरोध स्वरूप ट्रैक पर बैठ कर नारेबाजी और प्रदर्शन कर रहे थे. इसी बीच उधर से एक एक्सप्रेस ट्रेन गुजर गई. आंदोलन के बीच रेलवे प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आई है।
बाल-बाल बची जान : बता दें कि बिहटा औरंगाबाद रेल परियोजना संघर्ष समिति के बैनर तले दानापुर रेल मंडल के बिहटा रेलवे स्टेशन पर पैदल मार्च करते हुए सभी आंदोलनकारी पहुंचे थे. सभी ने पटना-दिल्ली अप मेन लाइन को जाम कर दिया था. इसकी जानकारी आंदोलनकारी ने रेलवे प्रशासन और रेलवे विभाग को पहले ही दे दी थी. इसी दौरान रेलवे ट्रैक पर लेटे आंदोलनकारी चंदन वर्मा और राजेंद्र यादव के अलावा काफी संख्या में लोग मौजूद थे. तभी ट्रेन नंबर 82355 पटना छत्रपति शिवाजी टर्मिनस एक्सप्रेस अचानक अप मेन लाइन से गुजर गई।
अचानक ट्रेन आने से मच गई भगदड़ : अचानक ट्रेन आने के बाद भगदड़ जैसी स्थिति हो गई. जैसे तैसे लोगों ने अपनी जान बचाई, लेकिन चंदन वर्मा रेलवे ट्रैक के नीचे फंस गए. वैसे इस घटना में अभी तक किसी की जान नहीं गई और लापरवाही के कारण अब आंदोलनकारी स्टेशन मास्टर सहित रेलवे प्रशासन के अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं. आंदोलनकारी चंदन वर्मा ने बताया कि बिहटा औरंगाबाद रेल परियोजना की शुरुआत अभी तक नहीं हो सकी है।
रेलवे प्रशासन को आंदोलन की दी गई थी सूचना : चंदन ने बताया कि 2007 में तत्कालीन रेल मंत्री लालू यादव ने शिलान्यास पालीगंज में किया गया था. लेकिन कई वर्ष बीतने के बाद भी परियोजना की शुरुआत अभी तक नहीं हो पाई है. इसके बाद हम सभी लोग लगातार इस परियोजना को लेकर आंदोलन कर रहे हैं. आज बिहटा रेलवे स्टेशन पर हम लोगों ने आंदोलन शुरू किया इसकी जानकारी रेलवे प्रशासन और रेलवे विभाग को पहले ही दी जा चुकी थी. लेकिन रेलवे प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आई।
जब हम सभी लोग रेलवे ट्रैक पर बैठे हुए थे. तभी एक्सप्रेस ट्रेन हमारे ऊपर से गुजरी है. भगवान का शुक्रिया अदा करता हूं कि मेरी जान नहीं गई. रेलवे प्रशासन पूरी तरह से तानाशाही हो चुकी है.”-चंदन वर्मा, पीड़ित आंदोलनकारी
वर्षों से लटकी है परियोजना :वहीं दूसरी ओर बिहटा औरंगाबाद रेल परियोजना संघर्ष समिति के सदस्य राजेंद्र यादव ने बताया कि बिहटा औरंगाबाद रेल परियोजना पिछले कई वर्षों से लटका हुआ है. सरकार कितनी आई और गई. हमलोगों को सिर्फ आश्वासन ही मिलता आ रहा था. अब आंदोलन को उग्र किया जा रहा है. इस दौरान बिहटा रेलवे स्टेशन पर रेलवे प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आई है।
हमलोगों ने आंदोलन को लेकर एक दिन पहले ही रेलवे विभाग को इसकी जानकारी लिखित में दी थी. इसके बावजूद भी हमारे ऊपर से ट्रेन गुजरी है. आज की सरकार पूरी तरह से तानाशाही हो चुकी है. इसका नतीजा है आप खुद देख सकते हैं.”-राजेंद्र यादव, आंदोलनकारी