महिला एवं बाल विकास मंत्रालय ने गुरुवार को कार्यस्थल पर महिलाओं के यौन उत्पीड़न की शिकायतें दर्ज करने और उनकी निगरानी के लिए एक केंद्रीकृत मंच नये शी-बॉक्स पोर्टल का शुभारंभ किया है। इस पोर्टल के शुभारंभ के मौके पर महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने कहा कि “यह पहल कार्यस्थल से संबंधित यौन उत्पीड़न की शिकायतों का समाधान करने के लिए पहले से अधिक कुशल और सुरक्षित मंच उपलब्ध कराने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह सम्पूर्ण भारत में महिलाओं के लिए सुरक्षित और अधिक समावेशी कामकाज का वातावरण बनाने की सरकार की प्रतिबद्धता को आगे बढ़ाता है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि यह पोर्टल सुनिश्चित करेगा कि व्यक्तिगत जानकारी सार्वजनिक किए बिना सुरक्षित रूप से शिकायतें दर्ज की जा सकती हैं।
इस दौरान मंत्रालय ने सरकार की एक नई वेबसाइट भी शुरू की है। इस वेबसाइट का उद्देश्य डिजिटल प्लेटफार्मों पर एक सशक्त उपस्थिति दर्ज कराना है जिससे राष्ट्रीय और वैश्विक लाभार्थियों के साथ सरकार की भागीदारी बढ़ सके।
दरअसल प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत सरकार 2047 तक “विकसित भारत” के लिए प्रतिबद्ध है। इसे प्राप्त करने के लिए सरकार ने पिछले दशक में वीमेन-लेड-डिवेलपमेंट पर महत्वपूर्ण जोर दिया है और समावेशी आर्थिक विकास को आगे बढ़ाने में महिलाओं के नेतृत्व की महत्वपूर्ण भूमिका को मान्यता दी है। कार्यबल में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के लिए इस पहल का एक मुख्य उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि कार्यस्थल सुरक्षित और संरक्षित हों, जिससे महिलाएं आगे बढ़ सकें और सफल हो सकें।
कार्यस्थल पर महिलाओं का यौन उत्पीड़न (रोकथाम, निषेध और निवारण) अधिनियम, 2013 कार्यस्थल पर महिलाओं को यौन उत्पीड़न से बचाने और उनकी शिकायतों का समाधान करने का काम करता है। इस प्रतिबद्धता के अनुरूप नया शी-बॉक्स पोर्टल कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न की शिकायतों का समाधान और प्रबंधन करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
नया शी-बॉक्स पोर्टल देश भर में गठित आंतरिक समितियों (आईसी) और स्थानीय समितियों (एलसी) से संबंधित सूचनाओं के केंद्रीकृत भंडार के रूप में कार्य करता है, जिसमें सरकारी और निजी दोनों क्षेत्र शामिल हैं। यह शिकायत दर्ज करने, उनकी स्थिति को ट्रैक करने और आईसी द्वारा शिकायत पर समयबद्ध कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए एक साझा मंच प्रदान करता है। यह पोर्टल नामित नोडल अधिकारी के माध्यम से शिकायतों की वास्तविक समय पर निगरानी करने की सुविधा प्रदान करेगा।