WeatherNational

कश्मीर में एक बार फिर होगी भारी बर्फबारी, मौसम विभाग ने जारी किया अलर्ट

चिल्ला-ए-कलां में हुई बर्फबारी से जहां घाटी की सुंदरता में चार चांद लग चुके हैं, वहीं लगातार गिर रहे तापमान से घाटी में जिंदगी की रफ्तार पर भी ब्रेक लग चुकी है। नदी और नालों का पानी जम चुका है, रास्तों पर मौजूद बर्फ पर कोहरा लगा हुआ है। आलम ऐसा है की फेमस डल झील में चलने वाले शिकारा की भी रफ्तार भी रुक चुकी है। झील के हर हिस्से में बर्फ की मोती परत बिछी हुई है। इसी बीच मौसम विभाग ने एक बार फिर कई इलाकों में भारी बर्फबारी की संभावना जताई है।

जारी हुआ बर्फबारी का अलर्ट

कश्मीर के खूबसूरत नजारे इन दिनों देश भर से कश्मीर घूमने आए पर्यटकों के लिए स्वर्ग का एहसास दे रहे हैं। इसी बीच मौसम विभाग ने एक बार फिर बर्फबारी का अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के मुताबिक, 4 जनवरी से लेकर 6 जनवरी तक कश्मीर में पहाड़ी इलाकों के साथ-साथ मैदानी इलाकों में भीषण बर्फबारी होने की संभावना जताई है, जिसका असर पूरे भारत में देखा जा सकता है।

सोमवार को हो सकती है भारी बर्फबारी

मौसम विभाग ने आगे बताया कि शुक्रवार को ऊंचाई वाले कुछ जगहों पर हल्की बर्फबारी हो सकती है। शनिवार को पश्चिमी विक्षोभ के प्रभाव से जम्मू कश्मीर के ज्यादातर जगहों पर हल्की से मध्यम बर्फबारी के आसार है। सोमवार सुबह तक इसकी संभावना बहुत अधिक रहेगी। कश्मीर के अधिकतर स्थानों पर रात के तापमान में बढ़ोतरी दर्ज की गई।

गुलमर्ग का तापमान रहा इतना

मौसम विभाग ने बताया कि उत्तरी कश्मीर में ‘स्कीइंग’ के लिए फेमस पर्यटक जगह गुलमर्ग में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 4.5 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया। मौसम विभाग के मुताबिक, दक्षिण कश्मीर में अमरनाथ यात्रा के लिए आधार शिविर पहलगाम में भी मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 4.6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज हुआ। श्रीनगर में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 2.2 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज हुआ जबकि पिछली रात यह जीरो से 2.6 डिग्री सेल्सियस नीचे था।

आगे यह भी बताया कि कश्मीर के प्रवेश द्वार काजीगुंड में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 7.3 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज हुआ और ये घाटी में सबसे ज्यादा ठंडा स्थान रहा। पंपोर शहर के कोनीबल में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 4.6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज हुआ। विभाग ने बताया कि उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 1.6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया, जबकि दक्षिणी कश्मीर के कोकेरनाग में मिनिमम टेंपरेचर जीरो से 5.6 डिग्री सेल्सियस नीचे ही रहा।

चल रहा ‘चिल्ला-ए-कलां’

गौरतलब है कि अभी कश्मीर घाटी ‘चिल्ला-ए-कलां’ (सर्वाधिक ठंड की अवधि) की चपेट में है। इसे सर्दियों के सबसे कठिन समय में गिना जाता है, जो 21 दिसंबर से शुरू हुआ था। ‘चिल्ला-ए-कलां’ की 40 दिनों की अवधि के दौरान सबसे ज्यादा बर्फबारी होती है। ‘चिल्ला-ए-कलां’ अगले साल 30 जनवरी को खत्म हो जाएगा, लेकिन शीतलहर जारी रहेगी। 40 दिनों के ‘चिल्ला-ए-कलां’ के बाद 20 दिन की ‘चिल्ला-ए-खुर्द’ और 10 दिन का ‘चिल्ला-ए-बच्चा’ भी होगा फिर घाटी में ठंड में धीरे-धीरे कमी आएगी।


Discover more from Voice Of Bihar

Subscribe to get the latest posts sent to your email.

Submit your Opinion

Discover more from Voice Of Bihar

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading

मत्स्य पालन और जलीय कृषि में ड्रोन प्रौद्योगिकी के अनुप्रयोग और प्रदर्शन पर कार्यशाला आयोजित बिहार में बाढ़ राहत के लिए भारतीय वायु सेना ने संभाली कमान बिहार के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करने रवाना हुए सीएम नीतीश पति की तारीफ सुन हसी नही रोक पाई पत्नी भागलपुर में खुला पटना का फैमस चिका लिट्टी