केंद्रीय सड़क परिवहन और राज्य मार्ग मंत्रालय ने अब गाड़ियों में हॉर्न और सायरन की तेज ध्वनि में बदलाव करने वाले नियम तैयार कर लिए हैं। अब लोगों को इन सायरनों की कर्कश आवाज की जगह भारतीय वाद्य यंत्रों जैसे बांसुरी, तबले और शंख की आवाज सुनाई देगी। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने खुद इस बात की घोषणा की है।
ध्वनि प्रदूषण कम होगा
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने पुणे में एक कार्यक्रम के दौरान बताया कि सायरन को हटाने के काफी फायदे होंगे। इससे ध्वनि प्रदूषण भी कम होगा। उन्होंने बताया कि मंत्रालय ऐसे प्रावधान तैयार कर रहा हैं जिससे लोगों को सायरन की कर्कश आवाज से राहत मिलेगी।
सायरन को खत्म करने की योजना
नितिन गडकरी ने बताया कि अब केंद्रीय सड़क परिवहन और राज्य मार्ग मंत्रालय ने तेज सायरन को खत्म करने की योजना बनाई है। हमारी योजना है कि गाडियों में इंडियन म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट की आवाज लगाई जाए, जो लोगों को सुनने में बेहतर लगे। गडकरी ने कहा कि वो भाग्यशाली हैं कि उन्हें VIP गाड़ियों से लाल बत्ती हटाने का मौका मिला था। अब वो VIP गाड़ियों से सायरन हटाने की योजना बना रहे हैं।
2017 में बैन हुई थी लाल बत्ती
केंद्र सरकार ने 1 मई 2017 को पीएम समेत सभी मंत्रियों और अफसरों की गाड़ियों पर लाल बत्ती को लगाना बैन कर दिया था। सरकार ने फैसला किया था कि केवल एम्बुलेंस और फायर ब्रिगेड जैसी इमरजेंसी सर्विसेज की गाड़ियों पर ही नीली बत्ती का इस्तेमाल किया जाएगा। इस कदम को देश में VIP कल्चर को खत्म करने की ओर एक बड़े कदम के रूप में देखा गया था।
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