प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज अपने रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ के 109वें और इस साल के पहले एपिसोड के जरिए देश को संबोधित करेंगे. इस कार्यक्रम के चरिए पीएम मोदी रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा के साथ-साथ अन्य मुद्दों पर भी अपने अनुभव साझा करेंगे. इसके साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गणतंत्र दिवस पर हुए महिला शक्ति के प्रदर्शन पर भी चर्चा कर सकते हैं. बता दें कि देश इस साल 75वां गणतंत्र दिवस मना रहा है. 26 जनवरी को कर्तव्य पथ पर परेड के दौरान निकली झांकियों में महिलाओं की भागीदारी ज्यादा देखने को मिली. परेड की शुरुआत 100 महिलाओं ने शंख, नगाड़ा और अन्य पारंपरिक वाद्ययंत्र बजाकर की. जो भारत के इतिहास में गणतंत्र दिवस के मौके पर पहली बार हुआ था.

108वें एपिसोड में मेंटल-फिजिकल हेल्थ पर दिया था जोर

वहीं पिछले महीने यानी दिसंबर में मन की बात के 108वें एपिसोड के दौरान पीएम मोदी ने फिट इंडिया अभियान पर चर्चा की थी. इस कार्यक्रम के दौरान चेस ग्रैंडमास्टर विश्वनाथन आनंद, एक्टर अक्षय कुमार और क्रिकेटर हरमनप्रीत कौर से मेंटल और फिजिकल हेल्थ की टिप्स सुनवाईं. वहीं पीएम मोदी ने 108वें एपिसोड की शुरुआत ही 108 अंक के महत्व के बारे में बताते हुए की थी. उन्होंने कहा था कि हमारे यहां 108 अंक का महत्व, उसकी पवित्रता एक गहन अध्ययन का विषय है. 108 बार मंत्र जपा जाता है. मंदिरों में 108 सीढ़ियां होती हैं, इसलिए ये एपिसोड मेरे लिए और खास हो गया है.

प्रभु राम का शासन प्रेरणा का स्त्रोत- पीएम मोदी

पीएम मोदी ने मन की बात कार्यक्रम के दौरान कहा कि तीसरे अध्याय के प्रारंभ में हमारे संविधान निर्माताओं ने भगवान राम, माता सीता और लक्ष्मण जी के चित्रों को स्थान दिया था. प्रभु राम का शासन, हमारे संविधान निर्माताओं के लिए भी प्रेरणा का स्त्रोत था और इसलिए 22 जनवरी को अयोध्या में मैंने देव से देश की बात की थी, राम से राष्ट्र की बात की थी. पीएम मोदी ने आगे कहा कि योध्या में प्राण प्रतिष्ठा के अवसर ने देश के करोड़ों लोगों को मानो एक सूत्र में बांध दिया है. सबकी भावना एक, सबकी भक्ति एक, सबकी बातों में राम, सबके हृदय में राम. मोदी ने कहा कि 22 जनवरी की शाम को पूरे देश ने रामज्योति जलाई, दिवाली मनाई. इस दौरान देश ने सामूहिकता की शक्ति देखी, जो विकसित भारत के हमारे संकल्पों का भी बहुत बड़ा आधार है.

26 जनवरी की परेड पर क्या बोले पीएम मोदी

मन की बात कार्यक्रम के दौरान पीएम मोदी ने गणतंत्र दिवस का भी जिक्र किया. पीएम मोदी ने कहा कि इस बार 26 जनवरी की परेड बहुत ही अद्भुत रही, लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा परेड में महिला सशक्तिकरण को देखकर हुई, जब कर्त्तव्य पथ पर, केंद्रीय सुरक्षा बलों और दिल्ली पुलिस की महिला टुकड़ियों ने कदमताल शुरू किया तो सभी गर्व से भर उठे. पीएम ने कहा कि परेड में मार्च करने वाले 20 दस्तों में से 11 दस्ते महिलाओं के थे. हमने देखा कि जो झांकी निकली, उसमें भी सभी महिला कलाकार ही थीं. जो सांस्कृतिक कार्यक्रम हुए, उसमें भी करीब डेढ़ हज़ार बेटियों ने हिस्सा लिया. डीआरडीओ ने जो झांकी निकाली, उसने भी सभी का ध्यान खींचा. उसमें दिखाया गया कि कैसे नारीशक्ति जल-थल-नभ, साइबर और अंतरिक्ष, हर क्षेत्र में देश की सुरक्षा कर रही है.

फिजिकल हेल्थ, मेंटल हेल्थ पर भी की बात

इसके साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले मन की बात एपिसोड के दौरान फिट इंडिया, फिजिकल हेल्थ, मेंटल हेल्थ और न्यूट्रीशिन को लेकर भी लंबी चर्चा की थी. इसके साथ ही पीएम मोदी ने कार्यक्रम के आखिर में भगवान श्रीराम के भजन को सोशल मीडिया पर शेयर करने की अपील की. पीएम ने कहा था कि हैशटेग श्रीराम भजन के साथ लोग अपनी रचनाएं शेयर करें. इससे देश के सभी लोग राममय हो जाएंगे.

11 विदेशी भाषाओं में होता है मन की बात का प्रसारण

बता दें कि पीएम मोदी के ‘मन की बात’ कार्यक्रम का प्रसारण 22 भारतीय भाषाओं के अलावा 29 बोलियों में भी किया जाता है. इसके अलावा मन की बात कार्यक्रम फ्रेंच, चीनी, इंडोनेशियाई, तिब्बती, बर्मी, बलूची, अरबी, पश्तू, फारसी समेत 11 विदेशी भाषाओं में भी प्रसारित किया जाता है. जिसे आकाशवाणी के 500 से अधिक केंद्रों से प्रसारित किया जाता है.

मन की बात में क्या बोले पीएम मोदी

पीएम मोदी ने मन की बात कार्यक्रम की शुरुआत में कहा कि अमृतकाल में एक नई उमंग है नई तरंग है. दो दिन पहले हम सभऊी देशवासियों ने 75वां गणतंत्र दिवस बहुत धूमधाम से मनाया. इस साल हमारे संविधान के भी 75 वर्ष हो रहे हैं और सुप्रीम कोर्ट के भी 75 वर्ष हो रहे हैं. हमारे लोकतंत्र के ये पर्व मदर ऑफ डेमोक्रेसी के रूप में भारत को और सशक्त बनाते हैं. भारत का संविधान इतने गहन मंथन के बाद बना है कि उसे जीवंत दस्तावेज कहा जाता है. इसी संविधान के मूलभूत प्रति के तीसरे अध्याय में भारत के नागरिकों के मूलभूत अधिकारों का वर्णन किया गया है.

प्रभु राम का शासन प्रेरणा का स्त्रोत- पीएम मोदी

पीएम मोदी ने मन की बात कार्यक्रम के दौरान कहा कि तीसरे अध्याय के प्रारंभ में हमारे संविधान निर्माताओं ने भगवान राम, माता सीता और लक्ष्मण जी के चित्रों को स्थान दिया था. प्रभु राम का शासन, हमारे संविधान निर्माताओं के लिए भी प्रेरणा का स्त्रोत था और इसलिए 22 जनवरी को अयोध्या में मैंने देव से देश की बात की थी, राम से राष्ट्र की बात की थी. पीएम मोदी ने आगे कहा कि योध्या में प्राण प्रतिष्ठा के अवसर ने देश के करोड़ों लोगों को मानो एक सूत्र में बांध दिया है. सबकी भावना एक, सबकी भक्ति एक, सबकी बातों में राम, सबके हृदय में राम. मोदी ने कहा कि 22 जनवरी की शाम को पूरे देश ने रामज्योति जलाई, दिवाली मनाई. इस दौरान देश ने सामूहिकता की शक्ति देखी, जो विकसित भारत के हमारे संकल्पों का भी बहुत बड़ा आधार है.

26 जनवरी की परेड पर क्या बोले पीएम मोदी

मन की बात कार्यक्रम के दौरान पीएम मोदी ने गणतंत्र दिवस का भी जिक्र किया. पीएम मोदी ने कहा कि इस बार 26 जनवरी की परेड बहुत ही अद्भुत रही, लेकिन सबसे ज्यादा चर्चा परेड में महिला सशक्तिकरण को देखकर हुई, जब कर्त्तव्य पथ पर, केंद्रीय सुरक्षा बलों और दिल्ली पुलिस की महिला टुकड़ियों ने कदमताल शुरू किया तो सभी गर्व से भर उठे. पीएम ने कहा कि परेड में मार्च करने वाले 20 दस्तों में से 11 दस्ते महिलाओं के थे. हमने देखा कि जो झांकी निकली, उसमें भी सभी महिला कलाकार ही थीं. जो सांस्कृतिक कार्यक्रम हुए, उसमें भी करीब डेढ़ हज़ार बेटियों ने हिस्सा लिया. डीआरडीओ ने जो झांकी निकाली, उसने भी सभी का ध्यान खींचा. उसमें दिखाया गया कि कैसे नारीशक्ति जल-थल-नभ, साइबर और अंतरिक्ष, हर क्षेत्र में देश की सुरक्षा कर रही है.


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