सरमा ने कांग्रेस को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि, कांग्रेस भगवान राम और बाबर के बीच हमेशा बाबर को ही चुनेगी, क्योंकि वे बाबर से प्यार करते हैं।

राम मंदिर का न्योता ठुकराने के बाद कांग्रेस लगातार तमाम राजनीतिक आलोचनाओं का शिकार हो रही है. केंद्र की सत्ता में काबिज भाजपा के तमाम दिग्गज नेता, कांग्रेस के इस इनकार पर तीखे हमले बोल रहे हैं. इसी बीच असम मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा का कांग्रेस पर एक और वायरल बयान सामने आया है. हिमंत बिस्वा सरमा का कहना है कि, कांग्रेस का आगामी 22 जनवरी को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में शामिल न होना अच्छा है, क्योंकि उनकी उपस्थिति कार्यक्रम को खराब कर देगी..

इसके साथ ही सरमा ने कांग्रेस को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि, कांग्रेस भगवान राम और बाबर के बीच हमेशा बाबर को ही चुनेगी, क्योंकि वे बाबर से प्यार करते हैं. गौरतलब है कि, सीएम सरमा इससे पहले भी राम मंदिर न्योते पर इनकार के मद्देनजर कांग्रेस पर कई बार हमला कर चुके हैं।

कांग्रेस को बुलाना ही नहीं चाहिए था..

सरमा ने अपने एक्स पोस्ट पर कहा था कि, राम मंदिर का न्योता ठुकराने से कांग्रेस ने अपने पिछले पापों को कम करने का अवसर खो दिया है. साथ ही उन्होंने राहुल गांधी की एक पुरानी तस्वीर, जिसमें साल 2005 में वे अफगानिस्तान के काबुल में बाबर के मकबरे पर नजर आ रहे हैं, वो भी साझा की थी. सीएम सरमा का स्पष्ट कहना है कि, कांग्रेस नेताओं को पहले से ही इस कार्यक्रम में आमंत्रित नहीं किया जाना चाहिए था।

22 जनवरी का कार्यक्रम भाजपा की साजिश..

मालूम हो कि, कांग्रेस ने 22 जनवरी के कार्यक्रम को चुनावी लाभ के लिए भाजपा/आरएसएस की योजना बताया और घोषणा की कि सोनिया गांधी, मल्लिकार्जुन खड़गे और अधीर रंजन चौधरी इस कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे. पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा, ”जिन्हें आस्था है वे आज या कल मंदिर जा सकते हैं।” उन्होंने इसे बीजेपी की साजिश करार दिया, जिसके बाद ही से राजनीतिक गलियारे में पक्ष-विपक्ष के बीच घमासान जारी है।


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