बिहार की अररिया पुलिस ने राजस्थान के कुख्यात लारेंस बिश्नोई गिरोह के एक नाबालिग शार्प शूटर को गुरुवार को पकड़ा है। नेपाल सीमा से सटे जोगबनी रेलवे स्टेशन स्थित एक एटीएम के पास से उसे संदिग्ध हालत में पकड़ा गया। उसके खिलाफ साइबर फ्राड की शिकायत थी।

नवयुवक की पहचान राजस्थान के बीकानेर निवासी के रूप में हुई है। वह कृष्ण कुमार के नाम से फेक आइडी बनाकर नेपाल के विराटनगर में किराये पर रह रहा था।

एसपी ने बताया कि नवयुवक 2023 में राजस्थान के जयपुर शहर में जी ग्रुप के एक होटल में एक करोड़ की फिरौती के लिए की गई गोलीबारी की घटना में भी शामिल रहा है। उस घटना में लारेंस विश्नोई गिरोह का नाम आया था।

जयपुर की गोलीबारी के बाद नवयुवक को पकड़कर बीकानेर में बाल सुधार गृह में रखा गया था। वहां से वह 2023 में ही खिड़की तोड़कर भाग निकला था। वह अपनी पहचान छिपाकर विराटनगर में किराये के मकान में रह रहा था।

वह अपने ग्रुप के लोगों से वीपीएन (वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क) के माध्यम से संपर्क बनाकर रखता था। ग्रुप के सदस्यों द्वारा उसे विभिन्न एप के माध्यम से पैसा भेजा जाता था। उन्हीं पैसों को निकालने के लिए वह जोगबनी आया करता था। इसी क्रम में एक दुकानदार के अकाउंट पर युवक ने पैसे मंगवाए थे।

मामले में साइबर फ्राड की शिकायत की गई थी और दुकानदार का अकाउंट फ्रीज कर दिया गया था। पुलिस मामले पर नजर रख रही थी। अगली बार गुरुवार को जब नवयुवक पैसा निकालने जोगबनी आया तो उसे पकड़ लिया गया।

बिहार एसटीएफ भी मामले की जांच में जुट गई है। राजस्थान पुलिस को भी यह सूचना दी गई है। पुलिस को आशंका है कि नवयुवक नेपाल में रहकर भारत के सीमावर्ती क्षेत्रों में साइबर अपराध की घटनाओं को अंजाम देता था।

अररिया एसपी अमित रंजन ने बताया कि भारत-नेपाल सीमा पर जोगबनी रेलवे स्टेशन के पास साइबर फ्राड की शिकायत पर एक नवयुवक को पकड़ा गया। वह राजस्थान के कुख्यात लारेंस बिश्नोई गिरोह का शार्प शूटर है। उसकी पास ऐसी कोई लीगल आइडी नहीं मिली, जिससे उसकी उम्र का सत्यापन किया जा सके।

उन्होंने बताया कि राजस्थान पुलिस उसे लेने के लिए आ रही है। नवयुवक को राजस्थान पुलिस के हवाले कर दिया जाएगा। मामले में जांच की जा रही है।


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