Share

बिहार में एनडीए की सरकार बनने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने आरजेडी कोटे के कई विभागों की जांच कराने की घोषणा की है. इसमें पूर्व डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव के भी विभाग शामिल हैं. इस बीच पूर्व कृषि मंत्री और राष्ट्रीय जनता दल के विधायक सुधाकर सिंह ने मांग की है कि बिहार में वर्ष 2008 से अभी तक चार कृषि रोड मैप लागू किए गए हैं. कृषि रोड मैप के तहत जो कुछ भी सरकार की योजनाएं थीं, वह पूरी तरह से फेल रही है।

‘बिहार में कृषि रोड मैप में घोटाला’: सुधाकर सिंह ने कहा कि कृषि रोड मैप में बहुत बड़ा घोटाला हुआ है, इसलिए सबसे पहले सरकार को कृषि रोड मैप की जांच करवानी चाहिए. उन्होंने कहा कि कई बार हम सरकार में रहकर भी सरकार को पीत पत्र भी लिखा था लेकिन उसको लेकर सरकार ने कोई जवाब नहीं दिया था. अब जब कई विभागों की जांच सरकार करवा रही है तो मांग करेंगे कि कृषि विभाग में कृषि रोड मैप की जांच भी अवश्य होनी चाहिए, क्योंकि वर्ष 2008 से बिहार में कृषि रोड मैप लागू किया गया और यह चौथा कृषि रोड मैप है।

“बिहार सरकार पिछली सरकार के कई विभागों की जांच करवाना चाहती है. अच्छी बात है जांच करवाइए लेकिन कृषि विभाग में मेरे द्वारा लिखा हुआ पीत पत्र भी जरूर देखिएगा और पिछले तीन कृषि रोड मैप का भी जांच जरूर करवाइयेगा. पिछले तीन कृषि रोड मैप की जांच से शायद आपकी नींद खुले कि तीन कृषि रोड मैप कैसे केवल भ्रष्टाचार की बलि चढ़ गया. पिछले तीन कृषि रोड मैप से किसानों को फायदा तो नहीं हुआ लेकिन ये फायदा किसको हुआ है, ये बिहार की आम आवाम से सामने जरूर आना चाहिए.”- सुधाकर सिंह, पूर्व कृषि मंत्री सह आरजेडी विधायक

बिहार कृषि रोड मैप की जांच की मांग की: पूर्व कृषि मंत्री ने सीएम नीतीश कुमार से बिहार कृषि रोड मैप की जांच की मांग की है. उन्होंने अपने एक्स हैंडल पर पत्र साझा करते हुए लिखा, ‘मुझे आशा है माननीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी से पिछले तीन कृषि रोड मैप का जांच जरूर करवायेंगे और भ्रष्टाचार में संलिप्त लोगों पर कठोर कार्रवाई भी करेंगे.’


Discover more from The Voice Of Bihar

Subscribe to get the latest posts to your email.

Discover more from The Voice Of Bihar

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading