तमिलनाडु के रिटायर्ड आईपीएस जी संपत कुमार सुप्रीम कोर्ट से बड़ी राहत मिली है. देश की शीर्ष अदालत ने संपत कुमार को 15 दिन की कैद के मद्रास हाईकोर्ट के आदेश पर अंतरिम रोक लगा दी है. दरअसल, संपत के खिलाफ भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने अवमानना याचिका दाखिल की है. इस याचिका के खिलाफ धोनी से अदालत ने जवाब भी मांगा है. इस मामले पर मार्च में अगली सुनवाई होने वाली है.

जी संपत कुमार ने महेंद्र सिंह धोनी पर आईपीएल में फिक्सिंग के आरोप लगाए थे. इसके बाद इस केस की सुनवाई मद्रास हाईकोर्ट में हुई, जहां मानहानि केस का जवाब देते हुए संपत ने सुप्रीम कोर्ट के बारे में अवमानना भरी टिप्पणियां की. उन्होंने अपने बयान पर खेद भी नहीं जताया. इसके बाद हाईकोर्ट ने उन्हें 15 दिन की सजा दी. हालांकि, अब इस सजा पर रोक लगा दी गई है और संपत कुमार का जेल जाने का खतरा टल गया है.

100 करोड़ रुपये का था मानहानि मुकदमा

आईपीएल टीम चेन्नई सुपर किंग्स के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने तमिलनाडु पुलिस के सीआईडी ​​विभाग में कार्यरत संपत कुमार और एक टेलीविजन चैनल के खिलाफ 2014 में मैच फिक्सिंग के आरोप लगाने के लिए 100 करोड़ रुपये का मानहानि मुकदमा दायर किया था. आईपीएल फिक्सिंग मामले में इन दोनों ही लोगों ने धोनी का नाम लिया था.

धोनी ने बाद में आईपीएस अधिकारी के खिलाफ अवमानना ​​याचिका दायर की. इस दौरान उन्होंने सुप्रीम कोर्ट और मद्रास हाईकोर्ट के खिलाफ आईपीएस अधिकारी के जरिए की गई अपमानजनक टिप्पणियों का हवाला दिया. जी संपत कुमार पिछले साल मई में रिटायर हुए थे.

सट्टेबाजों से पैसे लेने का लगा आरोप

संपत कुमार ने 2013 आईपीएल सट्टेबाजी मामले की शुरुआती जांच भी की थी. हालांकि, बाद में उन्हें केस से हटा दिया गया. उन पर कुछ सट्टेबाजों से रिश्वत लेकर आरोपियों को छोड़ने का आरोप भी लगा था. फिर 2019 में एक ट्रायल कोर्ट ने उन्हें आरोप मुक्त कर दिया था. संपत कुमार का कहना था कि फिक्सिंग के केस का खुलासा करने से रोकने के लिए उन्हें फंसाया गया था.