असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने 26/11 मुंबई आतंकवादी हमले की बरसी पर मृतकों और शहीद जवानों के प्रति अपनी संवेदना प्रकट की। उन्होंने कहा कि यह बहुत दुखदायी दिन है। साथ ही उन्होंने कहा कि जो करना था वो हम नहीं कर पाए। अगर उस समय मनमोहन सिंह की जगह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी होते तो शायद उसी समय हिसाब बराबर हो जाता। ये हमारा दुख है कि इतना बड़ा हमला हुआ और उस समय हमें जो करना था वो कर नहीं पाए।

हिमंत विश्व शर्मा अक्सर कांग्रेस और गांधी परिवार को निशाना बनाकर तीखे बयान देते रहे हैं। इससे पहले हाल ही में तेलंगाना विधानसभा चुनाव को लेकर कांग्रेस के घोषणा पत्र जारी करने पर उन्होंने कहा था कि कि पार्टी ‘मोहम्मद अली जिन्ना की मुस्लिम लीग के सपने को पूरा कर रही है’। शर्मा ने नाम लिये बगैर कांग्रेस नेता राहुल गांधी की ओर इशारा करते हुए आरोप लगाया कि जिन लोगों ने ‘गांधी उपनाम लगा रखा है, उन्होंने जिन्ना की नीतियों को पुनर्जीवित किया है’। कांग्रेस के अल्पसंख्यक घोषणापत्र में कहा गया है कि अगर पार्टी तेलंगाना में सत्ता में आती है, तो वह नौकरियों, शिक्षा और सरकारी योजनाओं में अल्पसंख्यकों सहित सभी पिछड़े वर्गों के लिए उचित आरक्षण सुनिश्चित करेगी।

बता दें कि हिमंत विश्व शर्मा से पहले केंद्रीय मंत्री और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता अनुराग ठाकुर भी 26/11 के आतंकवादी हमलों को लेकर कांग्रेस और मनमोहन सरकार पर निशाना साध चुके हैं। उन्होंने कहा था कि पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी की सलाह पर तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह “साइलेंट मोड” में चले गए थे और उन्होंने हमलों का प्रभावी ढंग से जवाब नहीं दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि सोनिया गांधी (तत्कालीन कांग्रेस अध्यक्ष) ने उनसे कुछ भी नहीं करने को कहा था। हथियारों से लैस पाकिस्तान के 10 आतंकवादियों ने 26 नवंबर, 2008 को मुंबई पर हमला किया और तीन दिनों तक तबाही मचाई, जिसमें सुरक्षा कर्मियों और विदेशी नागरिकों सहित 166 लोग मारे गए और कई अन्य घायल हो गए थे।


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