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गोरी और पतली लड़कियों को ही इस एयरलाइंस में मिलती थी नौकरी, कोर्ट में पहुँचा मामला; जानें वकील ने क्या कहा

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अमेरिका की यूनाइटेड एयरलाइंस के खिलाफ दो अनुभवी फ्लाइट अटेंडेंट ने कोर्ट में मुकदमा दर्ज कराया है। उन्होंने आरोप लगाया है कि एयरलाइंस ने गोरी और पतली फ्लाइट अटेंडेंट की वजह से उनको नौकरी से निकाल दिया। लॉस एंजेलिस डेली न्यूज के मुताबिक यह मुकदमा 25 अक्टूबर को दायर किया गया। डार्बी क्यूज़ादा और डॉन टॉड नामक दो महिलाओं ने यूनाइटेड एयरलाइंस पर नस्लीय और धार्मिक भेदभाव करने का आरोप लगाया है। इन दोनों महिलाओं ने यूनाइटेड एयरलाइंस के लिए 15 साल से अधिक समय तक काम किया है। कोर्ट में दायर इस मुकदमे में यह दावा किया गया है कि दोनों महिलाएं नौकरी के लिए योग्य थी लेकिन उन्हें केवल इसलिए नहीं चुना गया क्योंकि वे गोरी नहीं थी।

वकील ने क्या कहा?

दोनों महिलाओं के मामले को कोर्ट में प्रेजेंट करने वाले वकील ने कहा कि, ‘यूनाइटेड एयरलाइंस जैसी बड़ी कंपनी को यह समझना चाहिए कि किसी व्यक्ति की नस्ल और शक्ल के आधार पर उसे चुनना या हटाना गैराकानूनी है, इसके पीछे उसका उद्देश्य कुछ भी हो।’

यूनाइटेड एयरलाइंस ने कही ये बात

एयरलाइंस के स्पोकपर्सन चार्ल्स होबार्ट ने कहा कि, यूनाइटेड किसी भी तरह के भेदभाव को बर्दाश्त नहीं करता है। हम समावेशन के माहौल को बढ़ावा देते हैं। हमारा मानना है कि यह मामला बेबुनियाद है और हम कोर्ट में काफी मजबूती से अपना पक्ष रखेंगे।

लॉस एंजेलिस डेली न्यूज के मुताबिक पिछले 3 सालों में यह दूसरी बार है जब यूनाइटेड एयरलाइंस पर कॉलेजिएट और पेशेवर खेल टीमों के लिए चार्टर उड़ानों पर कथित रूप से भेदभाव करते हुए स्टाफ चयन करने के खिलाफ फ्लाइट अटेंडेंट ने मुकदमा दायर किया है। पहला मुकदमे का निपटारा हो गया जिसके तहत क्यूज़ादा और टॉड को चार्टर क्रू में शामिल किया गया।

Shailesh Kumar

My name is Shailesh and I am a graduate working for VOB. I have been updating news on website from more than three years.

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